अनुज श्रीवास्तव/अवनीश सिंह
उ.प्र./गाजीपुर। एंटी करप्शन ने सादात थाने के उप निरीक्षक आफताब अहमद को 25 हजार रुपये घूस लेते समय गिरफ्तार कर लिया। इस मामले में एंटी करप्शन विभाग की ओर से सादात थाना प्रभारी आलोक त्रिपाठी के खिलाफ भी मुकदमा दर्ज कराया गया है। मुकदमे की कार्रवाई बहरियाबाद थाने में हुई। इस कार्रवाई से पुलिस महकमे में अफरा तफरी मच गया है।
यह है मामला
आरोप है कि संजय यादव की स्विफ्ट कार 23 फरवरी को लावारिस हालत में सादात थाने में मिली थी। दरोगा ने संजय यादव से रिपोर्ट लगाने के लिए अपने व थानाध्यक्ष आलोक त्रिपाठी के नाम पर पैसे की मांग की। पीड़ित ने इसकी शिकायत एंटी करप्शन से की। जिस पर टीम मंगलवार की दोपहर 1.33 बजे योजना के मुताबिक थाने पहुंची और 25 हजार रुपये रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ दरोगा आफताब अहमद को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी दरोगा मीर्जापुर के चुनार क्षेत्र के सरैया सिकंदरपुर का मूल निवासी है। टीम के प्रभारी नीरज सिंह ने बहरियाबाद थाने में दरोगा व थानाध्यक्ष के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया है। दरोगा को दबोचने वाली टीम में एसएचओ अजीत सिंह, नीरज सिंह, योगेन्द्र कुमार, मैनेजर सिंह, प्रमोद कुमार, हेड कांस्टेबल शैलेन्द्र कुमार राय, विशाल उपाध्याय, सुमित कुमार भारती, विनोद कुमार, कांस्टेबल आशीष शुक्ला, अजय कुमार यादव सहित अन्य शामिल रहे।
सूत्रों के मुताबिक सादात थाने का प्रमोटेड दरोगा आफताब अहमद की पहले ही करंडा थाने पर स्थानांतरण कर दिया गया था।किंतु आफताब अहमद अपने ऊपर के अधिकारियों को कहानी बता-बता कर करंडा थाने पर ड्यूटी नहीं ज्वाइन की और सादात थाने पर ही डटा रहा।क्षेत्रवासियों के मुताबिक सादात थाने पर लेनदेन और रिश्वतखोरी का पूरा काम यह प्रमोटेड दरोगा आफताब अहमद ही करता रहा है।